ABN :पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने सतलोक आश्रम के प्रमुख रामपाल को बड़ा झटका देते हुए 15 जुलाई को होने जा रहे उसकी पौत्री के विवाह में शामिल होने के लिए सजा निलंबन की अनुमति से जुड़ी याचिका को खारिज कर दिया।पिछले सप्ताह हाईकोर्ट ने रोहतक जहां रामपाल की पौत्री का विवाह होना है वहां के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी को निर्देश दिए थे कि वह व्यक्तिगत तौर पर हलफनामा दायर कर सुरक्षा बंदोबस्त का जायजा लें और पर्याप्त सुरक्षा की जाए। यह सुनिश्चित करें कि विवाह में ज्यादा लोग शामिल न हों। कोविड 19 के चलते शादी के लिए केंद्र सरकार ने जो निर्देश दिए हैं उसका पूरी तरह से पालन किया जा रहा है या नहीं।
एसपी रोहतक ने कोर्ट को बताया कि रामपाल के आचरण को देख कर यह सुनिश्चित नहीं किया जा सकता की वो शांतिपूर्वक ढंग से सरेंडर करेगा। एक बार हाईकोर्ट ने उसको जमानत देकर कोर्ट में बुलाया था लेकिन वो पेश नहीं हुआ था उसको हाईकोर्ट में पेश करने के लिए बरवाला आश्रम के पास काफी संख्या में पुलिस की तैनाती व तनाव की स्थिति पैदा हुई थी। उसको गिरफ्तार करने के लिए गोलाबारी चली व कई मौत भी हुई। ऐसे में अब उसको बाहर आने दिया तो धारा 144 लागू करना असंभव है।
उसको शिष्यों की संख्या लाखों में है और रोहतक में उसका आना तो और भी तनाव पैदा करने वाला होगा क्यों कि रामपाल और आर्य समाज के लोगों का झगड़ा रोहतक से ही शुरू हुआ था। रामपाल का आचरण और उसका इतिहास भी उसकी सजा निलंबन को जायज नहीं मानता। इसलिए उसकी याचिका खारिज की जाए। हाईकोर्ट ने एसपी के जवाब का अवलोकन करने के बाद रामपाल की मांग खारिज कर दी।
जनता का विश्वाश है कि उन के काम तो विज ही करवा सकता है, ये दरबार फिर से शुरू होना चाहिए जिस से दरबार में आने वालों को हर सुविधा हो , अब तो उन्हे मजबूरन धूप में, बारिश में लाइन लगा कर घंटो खड़े रहना पड़ता है।